आपने कभी अपने आस पास के लोगो से शेयर बाज़ार के बारे मे पूछा है ?
यदि पूछा है तो आपको ज़्यादातर लोगो ने यही जवाब दिया होगा की
शेयर बाज़ार तो सट्टा है, और शेयर बाज़ार मे से कोई भी पैसा नहीं कमा सकता। सिर्फ कुछ ही लोग एसे है जो की शेयर बाज़ार से पैसा कमा लेते है, और वह लोग बहुत भाग्यशाली होते है।
यह बात सायद आपको भी सच जैसी ही लगे लेकिन यह बात सच नहीं है। लेकिन मे इस बात को नहीं मानता क्यूकी अब तक के दुनिया के सबसे बड़े बड़े पैसो वाले लोग भी या तो सीधा निवेश करके या फिर परोक्ष रूप से शेयर बाज़ार के द्वारा ही अमीर बने है।
जैसे सीधे तौर पर वोरेन बफेट, राधाकिशन दामानी और राकेश जूनजूनवाला जैसे लोग शेयर बाज़ार मे निवेश करके अमीर बने है।
और परोक्ष रूप से गूगल के स्थापक लेरी पेज, रिलायंस के मालिक मुकेश अंबानी, फेसबुक के स्थापक मार्क जैसे बहुत से लोग अपनी कंपनियो को शेयर बाजार मे लिस्ट करने से अमीर बने है।
और शायद एक बार लोग शट्टे मे जीत सकते है, दो बार जीत सकते है लेकिन क्या कोई सट्टा खेलने से सिर्फ उसके नसीब से दुनिया का चौथे नंबर का अमीर व्यक्ति बन सकता है ?
नहीं ना ?
इस लिए शेयर बाज़ार मे से पैसा बनाना संभव जरूर है लेकिन यहा पर कुछ और बात है। क्यूकी 80% रीटेल निवेशक शेयर बाज़ार मे अपना पैसा गवाते है।अगर रीटेल निवेशक इसके पीछे का कारण जान ले तो वह भी शेयर बाज़ार मे निवेश कर के बड़ा पैसा बना सकते है।
(यहा पर रिटेल निवेशक मतलब ऐसा व्यक्ति जो कोई नौकरी या छोटा व्यवसाय कर के पैसा कमा रहा हो और वह शेयर बाज़ार मे निवेश करना चाहता हो।)
तो चलिए एक उदाहरण से इन गलतियो को समजते है।
उदहारण (पहला भाग) :
रोहित एक रिटेल निवेशक है जो की एक कंपनी में अच्छी सी नौकरी करता है। अब शेयर बाजार में निवेश करना चाहता है। लेकिन उसे शेयर बाजार के बारे में कुछ नहीं पता इस लिए वह अपने एक ब्रोकर मित्र को मिलता है जो उसका शेयर बाजार में ट्रेडिंग और डीमैट खाता खुलवा देता है।
रोहित ने अपने उस ब्रोकर दोस्त को 1 लाख रूपए दिए और उन पैसो से उसके ब्रोकर दोस्त को ट्रेडिंग करने के लिए कहा। शुरू में तो बहोत अच्छा चल रहा था।
उसका ब्रोकर मित्र उसको रोज़ ट्रेडिंग की टिप्स देता और उसमे ट्रेड करने की मंजूरी लेता। और साथ ही वह रोहित को उसके प्रॉफिट के बारे में सूचित करता।
अब रोहित के पैसो से 20 % रिटर्न मिल चूका था इस लिए रोहित ने उस दोस्त को और 50 हजार रुपए दिए।
लेकिन कुछ दिनों के बाद रोहित को उसके दोस्त के द्वारा मिलने वाली सुचना बंध हो गई जिसकी वजह से रोहित ने अपने दोस्त से संपर्क किया तो उसे पता चला की उसके पैसो में उसको 50 % का नुकसान हो गया है।
क्युकी बाजार अचानक से गिरने लगा था। जिस के बाद रोहित ने अपने बाकी बचे पैसे निकलवा कर कुल 55 % का नुकसान उठाया और अपना खाता भी बंध करवा दिया।
ज्यादातर नए लोगो की शेयर बाजार की शुरुआत इसी तरीके से ही होती है।
रोहित कहा पर गलत था ?
रोहित ने अपने दोस्त लेकिन एक ब्रोकर पर अँधा विश्वास कर के उसे ट्रैड करने के लिए कह दिया। और एक ट्रेडर पैसा कमाए या फिर गवाए लेकिन ब्रोकर को पैसा तो मिलता ही है। जिस वजह से वह अपने क्लाइंट्स को ज्यादा ट्रेडिंग के बारे में कहता है।
जिस से उसे तो पैसा मिलता ही रहे। और साथ ही एक छोटे ब्रोकर को एक नियत ब्रोकरेज कमाने के लिए टार्गेट्स भी दिए जाते है, जिसको उन्हें पूरा करना पड़ता है। इस लिए किसी ब्रोकर के ऊपर अंधा विश्वास कर के उसे ट्रेडिंग करने देना सबसे बड़ी बेवकूफी है।
उदहारण (दूसरा भाग) :
इस बार रोहित कहा पर गलत था ?